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SANSTHAPAK

Shri Hanuman Satsang Dham Seva Samiti Gwalior

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सेवाश्रय अखाड़ा -

सेवाश्रय अखाड़ा - अखाड़ा शब्द सुनते ही मनुष्य को उस अखाड़े की झलक आती है, जिसमें कुस्ती होती है। दो पहलवान लड़ते हैं। एक जीतता है तो उसे श्रेष्ठता मिलती है। हां सेवाश्रय अखाड़ा भी कुछ इसी प्रकार का है। क्योंकि यह शारीरिक मानसिक कुस्ती का ही अखाड़ा नहीं है। वल्कि आध्यात्मिक धार्मिक अखाड़ा है। मानव जीवन संसार में संघर्ष कर लड़ता है। पर जीवन हार जाता है। मानव जीवन का उद्देश्य सनातन धर्म के अनुसार ईश्वर की प्राप्ति धर्म अर्थ काम मोक्ष को प्राप्त करना है। धर्म शास्त्रों के अनुसार भगवान का लक्ष्य एक से अनेक होने से ईश्वर से अनेक जीवों की उत्पत्ति हुई। और यह संसार भगवान का विराट स्वरूप बना। पर नर से नारायण बनना भी चौरासी लाख योनियों में सबसे श्रेष्ठ है। किन्तु जन्म जन्मांतर के संस्कार भाग्य कर्म फल भोगने पड़ते है। यही कुस्ती जीवन में जीव की चलती रहती है। इसे जीतने के लिए सनातन धर्म संस्कृति सभ्यता में अनेक उपाय हैं। भगवान शंकराचार्य ने और आचार्यों ने मठों अखाड़ों की परम्परा बनाई। उसके पहले ऋषि परम्परा रही। ऋषि परम्परा में पति पत्नी साधना उपासना करते थे। तथा जीवन शैली में धर्म कर्म स्वार्थ परस्वार्थ परमार्थ आदि पद्धति अपनाई थी। इस समय अखाड़ा जो हैं उनमें पहले स्त्री को स्थान नहीं था।पर आज सब जगह स्त्रियां किशोरीं आदि अग्रसर हैं। पर पति-पत्नी को स्थान नहीं। साथ साथ जगह अखाड़ा व मठ में नहीं है। सभी अखाड़ों के देवता व निशान व सिद्धांत अलग-अलग हैं। जो जीवन को सार्थक सफलता देने के मार्ग हैं। 

श्री हनुमान सत्संग धाम ने जब समझा कि यदि किन्नर अखाड़ा बना और उसे जूना अखाड़े ने सम्मान सहित सम्मिलित कर लिया। इसलिए दम्पति सहित साधना उपासना करने वाला यह सेवाश्रय अखाड़ा श्री हनुमान सत्संग धाम ने बनाया है। शास्त्रों के अनुसार सभी नियमों का पालन और नवीनता वाले इस अखाड़े में शास्त्रोंक्त पद्धति के साथ जीवन का पथ प्रशस्त है। देवता श्री हनुमान जी हैं। निशान गदा है। सेवा धर्म पद्धति से अपने अपने इष्ट साधना उपासना मार्ग से यह अखाड़ा बना है।

दो प्रकार के सेवा साधक इसके अनुयाई हैं। एक स्थाई जिनका नाम पूर्णकालिक सेवा साधक जो हमारे आश्रमों में सधर्मी बनकर रहेंगे। व्यवस्था श्री हनुमान सत्संग धाम करेगा। दूसरे सेवा साधक पर्वकालिक सेवा साधक होंगे। यह नवपीढी के लिए सुनिश्चित है, जिससे वे समय-समय पर सहभागिता सुनिश्चित करके जीवन अखाड़े से जोड़कर संसार से मोक्ष मार्ग पर ले जायेंगे। तब यह अखाड़ा वह अखाड़ा है जो जीवन हारने की जगह जीवन जीतने वाले मार्ग पर ले जायेगा। पर्वकालिक सेवा साधक एवं पूर्णकालिक सेवा साधक संसार रूपी अखाड़े में रहेंगे। और विजय पायेंगे। शुभकामनाएं।

"सनातन धर्म कर्म और अध्यात्म

"सनातन धर्म कर्म और अध्यात्म "

महामंडलेश्वर संतोष गुरु जी महाराज 

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जन्म से ब्राह्मण परिवार में संस्कार व्यवहार काआदर्श और पर्यावरण की अनुकूलता ने शुभ प्रारब्ध को फलित कर सनातन धर्म और कर्म की दिशा वचपन से प्रदान की है ।

संस्थान तो प्रमुख परिवार रहा।फिर श्री हनुमान जी की क्रपा और क्रपा गुरु श्री श्री 108 परमहंस श्री पागलदास जी महाराज समाधि वाले हनुमान गढी बरहा(लहार)भिंड की दिव्य शक्तिपीठ की महिमा से लोगों के दैहिक दैविक और भौतिक कष्टों का निदान होंने लगा । 

सनातन धर्म की आध्यात्मिक शक्ति के चमत्कार ही सनातन शक्ति का अनुभव कराने लगे ।तव धर्म में विश्वास शास्त्रों में भरोसा संत ब्राह्मण गौ में श्रद्धापूर्वक लोगों का व्यवहार विशेष रूप से दिखाई देने लगा।

आज भी नित्य गद्दी पर महामंडलेश्वर संतोष गुरु जी महाराज विराजकर यह सभी परम्परा का सेवा का कार्य करते हैं।

जिससे देश और विदेश में सनातन धर्म का प्रचार-प्रसार करने का सौभाग्य मानते हैं ।

तथा लोगों की श्रद्धापूर्वक अभिव्यक्ति भी देखने को मिलतीहै।

जिससे कार्य करने की लोगों को प्रेरणा प्राप्त होती है।

सनातन धर्म संस्क्रति और संस्कार तथा साहित्य को व्यवहारिक रूप से समाज के वीच अपनाने के लिये आदर्श प्रस्तुत करते हैं।

अपने मनोरथ लेकर आये लोगों के प्रश्नों को विना वताये जानकर उनके समाधान तथा मार्ग दर्शन देना भी सनातन धर्म योग विज्ञान तथा आध्यात्मिक दिव्य दृष्टि का पहिचान है। यह कार्य नित्य महामंडलेश्वर संतोष गुरु जी महाराज के जीवन का पावन कर्म है।जिससे रोजाना भक्त लोग निःशुल्क रूप से लाभान्वित होते हैं। तथा सनातन धर्म साधना देवी देवताओं में विश्वास करते हैं।


"सनातन धर्म कर्म और अध्यात्म "

महामंडलेश्वर संतोष गुरु जी महाराज 

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जन्म से ब्राह्मण परिवार में संस्कार व्यवहार काआदर्श और पर्यावरण की अनुकूलता ने शुभ प्रारब्ध को फलित कर सनातन धर्म और कर्म की दिशा वचपन से प्रदान की है ।

संस्थान तो प्रमुख परिवार रहा।फिर श्री हनुमान जी की क्रपा और क्रपा गुरु श्री श्री 108 परमहंस श्री पागलदास जी महाराज समाधि वाले हनुमान गढी बरहा(लहार)भिंड की दिव्य शक्तिपीठ की महिमा से लोगों के दैहिक दैविक और भौतिक कष्टों का निदान होंने लगा । 

सनातन धर्म की आध्यात्मिक शक्ति के चमत्कार ही सनातन शक्ति का अनुभव कराने लगे ।तव धर्म में विश्वास शास्त्रों में भरोसा संत ब्राह्मण गौ में श्रद्धापूर्वक लोगों का व्यवहार विशेष रूप से दिखाई देने लगा।

आज भी नित्य गद्दी पर महामंडलेश्वर संतोष गुरु जी महाराज विराजकर यह सभी परम्परा का सेवा का कार्य करते हैं।

जिससे देश और विदेश में सनातन धर्म का प्रचार-प्रसार करने का सौभाग्य मानते हैं ।

तथा लोगों की श्रद्धापूर्वक अभिव्यक्ति भी देखने को मिलतीहै।

जिससे कार्य करने की लोगों को प्रेरणा प्राप्त होती है।

सनातन धर्म संस्क्रति और संस्कार तथा साहित्य को व्यवहारिक रूप से समाज के वीच अपनाने के लिये आदर्श प्रस्तुत करते हैं।

अपने मनोरथ लेकर आये लोगों के प्रश्नों को विना वताये जानकर उनके समाधान तथा मार्ग दर्शन देना भी सनातन धर्म योग विज्ञान तथा आध्यात्मिक दिव्य दृष्टि का पहिचान है। यह कार्य नित्य महामंडलेश्वर संतोष गुरु जी महाराज के जीवन का पावन कर्म है।जिससे रोजाना भक्त लोग निःशुल्क रूप से लाभान्वित होते हैं। तथा सनातन धर्म साधना देवी देवताओं में विश्वास करते हैं।


"सनातन धर्म कर्म और अध्यात्म "

महामंडलेश्वर संतोष गुरु जी महाराज 

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जन्म से ब्राह्मण परिवार में संस्कार व्यवहार काआदर्श और पर्यावरण की अनुकूलता ने शुभ प्रारब्ध को फलित कर सनातन धर्म और कर्म की दिशा वचपन से प्रदान की है ।

संस्थान तो प्रमुख परिवार रहा।फिर श्री हनुमान जी की क्रपा और क्रपा गुरु श्री श्री 108 परमहंस श्री पागलदास जी महाराज समाधि वाले हनुमान गढी बरहा(लहार)भिंड की दिव्य शक्तिपीठ की महिमा से लोगों के दैहिक दैविक और भौतिक कष्टों का निदान होंने लगा । 

सनातन धर्म की आध्यात्मिक शक्ति के चमत्कार ही सनातन शक्ति का अनुभव कराने लगे ।तव धर्म में विश्वास शास्त्रों में भरोसा संत ब्राह्मण गौ में श्रद्धापूर्वक लोगों का व्यवहार विशेष रूप से दिखाई देने लगा।

आज भी नित्य गद्दी पर महामंडलेश्वर संतोष गुरु जी महाराज विराजकर यह सभी परम्परा का सेवा का कार्य करते हैं।

जिससे देश और विदेश में सनातन धर्म का प्रचार-प्रसार करने का सौभाग्य मानते हैं ।

तथा लोगों की श्रद्धापूर्वक अभिव्यक्ति भी देखने को मिलतीहै।

जिससे कार्य करने की लोगों को प्रेरणा प्राप्त होती है।

सनातन धर्म संस्क्रति और संस्कार तथा साहित्य को व्यवहारिक रूप से समाज के वीच अपनाने के लिये आदर्श प्रस्तुत करते हैं।

अपने मनोरथ लेकर आये लोगों के प्रश्नों को विना वताये जानकर उनके समाधान तथा मार्ग दर्शन देना भी सनातन धर्म योग विज्ञान तथा आध्यात्मिक दिव्य दृष्टि का पहिचान है। यह कार्य नित्य महामंडलेश्वर संतोष गुरु जी महाराज के जीवन का पावन कर्म है।जिससे रोजाना भक्त लोग निःशुल्क रूप से लाभान्वित होते हैं। तथा सनातन धर्म साधना देवी देवताओं में विश्वास करते हैं।


"महायज्ञ वैदिक विज्ञान व अध्यात्म"

  

"महायज्ञ वैदिक विज्ञान व अध्यात्म"

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महामंडलेश्वर संतोष गुरु जी ने माना और जाना है कि यज्ञ शक्ति साधना सनातन अध्यात्मिक विज्ञान है। जिससे प्रकृति संरक्षण एवं मनोनुकूल प्रब्रति का संतुलन बनाए रखने में सफलता मिलती है। 

संस्थान सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित कर सामाजिक समन्वय स्थापित कर सामूहिक रूप से वैदिक पाठ करके वेद ध्वनि से मन की शान्तिपूर्ण अवस्था उत्पन्न कर यज्ञाचार्य से यज्ञादि कार्य करवाने पर पर्यावरण की शुद्धि मन की शान्ति तथा जल वर्षा के लाभ से लाभान्वित करवाने का कार्यक्रम करवाता रहता है।

यज्ञ से जल तथा जल से जीवन प्राप्त होता है। तथा जल से धान्य होता है जिससे जीवन चलता है। 

मनोरथ सिद्ध करने में यज्ञ की प्रक्रिया पूर्ण सफल होती है।

सनातन अध्यात्मिक विज्ञान तकनीक यज्ञ है। जिससे तन मन धन की प्राप्ति हो जाती है।

रोग नासक ज्ञान विज्ञान यज्ञ है।

"यज्ञ परम्परा का महत्व "

  

"यज्ञ परम्परा का महत्व "

हनुमान सत्संग धाम ग्वालियर द्वारा आयोजित कार्यक्रमों में आयोजक महामंडलेश्वर संतोष गुरु जी की सानिध्यता में अपने आश्रमों के साथ-साथ अन्य स्थानों पर भी यज्ञादि कार्य पूर्ण किये गये हैं।

हजारों,लाखों लोगों ने इन यज्ञ कार्यक्रमों में तन मन धन से स्वैच्छिक रूप से भाग लेकर अपने मनोरथ सिद्ध किये हैं ।

श्री विष्णु ,श्री राम ,श्री रुद्र श्री शक्ति श्री प्रतिष्ठात्मक यज्ञ और महायज्ञ किए गये हैं।

कार्यक्रम की श्रृंखला में संस्थान 108 महायज्ञ वैदिक पद्धति से करते हुये ग्वालियर में स्वर्ण जयन्ती समारोह भी मना चुका है।

उसी पावन अवसर पर मठाधीश जगद्गुरु शंकराचार्य परम पूज्य स्वामी जयेन्द्र सरस्वती जी महाराज कान्चिकामकोटि पीठाधीश्वर के चरणों में मठ परम्परागत सन्यास दीक्षा मिली।

यज्ञ महिमा का ही मैं आशीर्वाद समझता हूं ।कि मुझे मेरी जन्म भूमि ग्राम बरहा में होने वाले100वे यज्ञ की पूर्व से ही तपोनिष्ठ भूमि पर जो मेरे क्रपा साध्य सिद्ध गुरु की तपस्थली श्री हनुमान गढी है। वहीं पर गुरु क्रपा से ही जगद्गुरु शंकराचार्य काशीपीठाधीश्वर स्वामी चिन्मयानन्द सरस्वती जी महाराज ने वेदांताचार्य महर्षि अभिरामदास जी महाराज जूनागढ गुजरात एवं श्री महंत महामंडलेश्वर गोमती दास जी महाराज डाकोर ने राजगुरु की उपाधि से अलंकृत किया।

"संचालित सेवा प्रकल्प "

  

श्री हनुमान सत्संग धाम श्री हरि अवतार दर्शन पीठ क्रष्णा विहार ग्वालियर मध्य प्रदेश द्वारा संचालित ।

" सेवा प्रकल्प "

· संचालन दिवस श्री कृष्ण जन्माष्टमी 26 अगस्त 2024

· संस्थापक अधिष्ठाता पीठाधीष्वर महामंडलेश्वर राजगुरु स्वामी संतोषानंन्द सरस्वती (संतोष गुरु जी) महाराज ।

· सेवा धर्म प्रेरणा श्रोत स्वर्गीय श्री मती गंगा देवी शर्मा स्वर्गीय श्री गंगा प्रसाद शर्मा जी 

संस्थापक श्री हनुमंत निवास बरहा ( लहार) जिला भिण्ड मध्यप्रदेश ।

· प्रेरक सेवा परायण श्री एम एल शर्मा शास्त्री जी पूर्व अकाउंट आफीसर ए जी एम पी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

· मार्गदर्शक --- पीठाधीष्वर महामंडलेश्वर राजगुरु स्वामी संतोषानंद सरस्वती (संतोष गुरु जी ) महाराज।

· सेवा प्रकल्प समन्वयन अध्यक्ष श्री मती आशा देवी शर्मा जी "गुरु माता " श्री हनुमान सत्संग धाम ग्वालियर ।

  

"सेवा प्रकल्प "

श्री हनुमान सत्संग धाम श्री हरि अवतार दर्शन पीठ ग्वालियर मध्यप्रदेश के तत्वावधान में संस्थापक महामंडलेश्वर राजगुरु स्वामी संतोषानंन्द सरस्वती (संतोष गुरु जी ) महाराज के मार्ग दर्शन में शिष्य भक्तों द्वारा सेवा धर्म का अपनाया जाने वाले पुरुषोत्तम काम ।

भारतवासियों को सेवा धर्म संस्कारों से ही प्राप्त है। राज्य सरकारों और भारत सरकार के अलावा अनेक संगठन सेवा कार्य करते आये हैं । 

धर्म का व्यापारीकरण अधिक होता जा रहा है ।इसीलिए हमारे संस्थान द्वारा धर्म के व्यवसायीकरण के बिरोध में समय समय पर आवाज उठाते हुए ही बिना चंदे के तथा बिना शासकीय सहयोग राशि आदि के द्वारा सभी प्रकल्पों को लगभग पचास वर्षों से संचालित किया जा रहा है ।धन की व्यवस्था श्री ब्रह्म विद्या योग पीठम् गुरु गद्दी व श्री हनुमान जी की क्रपा से प्राप्त दक्षिणा धनादि का शुद्ध शास्त्रोक्त दान दक्षिणा का सदुपयोग सम्मिलित हैं । स्वेच्छा से दिया दान-पुण्य सामग्री सम्मिलित हैं ।

(1) आध्यात्मिक सेवा प्रकल्प ------

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( अ) ब्रह्म विद्या योग ।

( ब) सत्संग ।

(स) उपासना ।

(द) पूजा पाठ ।

(इ) जाप हवनादि ।

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(2) धार्मिक सेवा प्रकल्प---------

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(अ) नित्य भगवत सेवा आरती पूजा प्रसाद सत्संग तथा संकीर्तनादि ।

(ब) गौ सेवा साधु संत आचार्य सेवा ।

(स) श्री हरि के चौबीस अवतारों की जयंती , द्वादश ज्योतिर्लिंग महाशिवरात्रि , नवदुर्गा, सप्तश्रषि ,श्री हनुमान जयंती, गुरु पूर्णिमा शंकराचार्य व तुलसी जयंती ।

(द) वार्षिक महोत्सव, यज्ञ, कथा , अनुष्ठान, जाप, पाठ। (इ) श्री राम चरित मानस (नित्य) ,वैदिक पौराणिक पाठ, अभिषेक श्रृंगार अखंड दीपादि एवं भंडारा । 

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(3) सामाजिक सेवा प्रकल्प---------

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(अ) वानप्रस्थ आश्रम - वरिष्ठ नागरिक सेवा, नारी सशक्तिकरण, वाल सेवा, अतिथि सेवा।

(ब) दीन हीन सेवा, विकलांग सेवा, निराश्रित सेवा।

(स) त्योहारों पर आयोजन जैसे होली - दशहरा, दीपावली , राखी ,नव वर्ष गुड़ी पड़वा आदि पर मिलन व

सहभोज ।

(द) सामूहिक विवाह, सुख - दुःख में सहभागिता ।

(इ) शिक्षा - स्वास्थ्य , चिकित्सा शिविरों का आयोजन, सामाजिक चेतना मंच, पर्व स्नान तीर्थ यात्रा आदि सेवायें।

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(4) साहित्यिक सेवा प्रकल्प--------

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(अ) सत्संग धाम मासिक पत्रिका ।

(ब ) सार्थक साहित्य लेखन एवं मुद्रण ।

( स) ग्रंथागार की स्थापना व भाषा पर्व ।

(द) मासिक काव्य गोष्ठी ।

(इ)अखिल भारतीयआध्यात्मिक कवि सम्मेलन(वार्षिक)।

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(5) राष्ट्रीय त्योहार सेवा प्रकल्प--------

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(अ) स्वतंत्रता दिवस ।

(ब) गणतंत्र दिवस । 

(स) वाल दिवस ।

(द ) शिक्षक दिवस ।

(इ) गांधी जयंती ।

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(6) सांस्कृतिक सेवा प्रकल्प----------

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(अ) संगीत साधना गायन वादन।

( ब) भजन संकीर्तन मंडल ।

(स) प्रतियोगिता संस्कृति कला ।

(द) वेशभूषा कलाकृति धरोहर ।

(इ) पुरातन संस्कृति समन्वय चेतना मंच।

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(7) प्राकृतिक पर्यावरण संरक्षण सेवा प्रकल्प---------

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(अ) प्राणी संरक्षण सेवा प्रबंधन ।

(ब) वृक्षारोपण एवं संरक्षण ।

(स) जल प्रबन्धन ।

(द) चेतना मंच शिविर ।

(इ) प्राकृतिक आपदा प्रबंधन ।

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(8) राज धर्म चिंतन सेवा प्रकल्प

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(अ) राजनैतिक दलों की विचारधारा में भारतीय दर्शन ।

(ब) भारतीय सनातन धर्म के लिए भूमिका ।

(स) समाजिक सरोकार व समन्वयन की कार्य प्रणाली ।

(द) न्याय व्यवस्था तथा संवैधानिक संरक्षण ।

(ई) चुनाव में विवेकी धारणाओं से मत प्रयोग महत्व ।

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(9) विविध सेवा प्रकल्प 

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(अ) जल प्रदाय , स्वच्छता प्रबंधन ।

(ब) तकनीकी सेवा, विद्युत प्रबंधन ।

(स) न्याय, शासन ,प्रशासन सेवा प्रबंधन ।

(द) मीडिया प्रबंधन ।

(ई) पांडाल ध्वनि यंत्र आदि प्रबन्धन ।

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(1) धार्मिक सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री जगद्गुरु आनंदेश्वर जी महाराज (आनंद गुरु जी) संस्थापक अध्यक्ष गंगा जगद्गुरु धाम अखाड़ा परिषद ग्वालियर मध्यप्रदेश । 

(2)धर्म - कर्म सेवा मंडल --- अध्यक्ष श्री सुरेन्द्र अग्रवाल जी महाप्रबंधक फ्रैंको इन्डस्ट्रीज ग्वालियर मध्यप्रदेश ।अध्यक्ष सेवा साधना संस्थान ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(3) पुरुषार्थ आस्था सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री धर्मेन्द्र शर्मा गुरु जी अध्यक्ष आनंद शर्मा एवं संस्कृति समन्वय शोध संस्थान समिति ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(4) सामाजिक सेवा मंडल----अध्यक्ष श्री सुरेन्द्र शर्मा गुरु जी (समाज सेवी) अध्यक्ष ब्राह्मण सर्व सेवा संघ ग्वालियर मध्यप्रदेश ।सह सचिव श्री हनुमान सत्संग धाम ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(5) शैक्षणिक सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री मती भावना शर्मा जी (एम एस सी बी एड) ( व्याख्याता) । कोषाध्यक्ष सार्थक साहित्य संघ ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(6) साहित्यिक सेवा मंडल----अध्यक्ष श्री मती संजुलता शर्मा जी -- बी एस सी ,एम ए ,बी एड , अध्यक्ष "सार्थक साहित्य संघ" ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(7) सांस्कृतिक सेवा मंडल----अध्यक्ष श्री मती मीरा शर्मा जी कोषाध्यक्ष गंगा जगद्गुरु धाम अखाड़ा परिषद ग्वालियर मध्यप्रदेश । 

(8) व्याख्यान सेवा संचालन मंडल --- अध्यक्ष श्री जितेन्द्र शर्मा गुरु जी ( व्याख्याता) सह सचिव गंगा जगद्गुरु धाम अखाड़ा परिषद ग्वालियर मध्यप्रदेश।

(9) संस्कृति सभ्यता सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री मती नंदनी तिवारी जी श्री आर डी मणि तिवारी जी पूर्व जी एम स्टेट बैंक ऑफ़ इंडिया ।

(10) भजन संकीर्तन सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री राजेंद्र शर्मा जी एडवोकेट ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(11) जिजासु चिंतक संस्कार सेवा मंडल----अध्यक्ष श्री आत्मा राम पाठक जी पूर्व एक्ज्यूक्यूटिव इन्जीनियर ग्वालियर ।

(12) कथा प्रवचन सेवा मंडल----अध्यक्ष श्री सतीश पाराशर जी पूर्व शासकीय अधिकारी राजस्व ।

(13) पर्यावरण संरक्षण सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री शशि कान्त द्विवेदी जी । पूर्व सेवा बी एड कालेज ग्वालियर ।

(14) योग साधना सेवा मंडल श्री निरंजन सिंह जी डायरेक्टर महाराजा कालेज ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(15) प्राकृतिक प्रबंधन सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री योगेन्द्र सिंह परिहार जी मैनेजर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(16) राष्ट्रीय सेवा मंडल----अध्यक्ष श्री राम लखन शर्मा गुरु जी व्याख्याता ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(17) चिकित्सा सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री डाक्टर श्री आर के शर्मा जी सिविल सर्जन ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(18) चिकित्सा सेवा व्यवस्था मंडल---अध्यक्ष श्री डाक्टर संजय गोयल जी । कोषाध्यक्ष श्री हनुमान सत्संग धाम सेवा समिति ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(19) राज धर्म चिंतन सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री राम सेवक श्रीवास्तव जी पूर्व शासकीय सेवा निवृत्त ।

(20) काव्य सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री साजन ग्वालियरि जी अन्तर्राष्ट्रीय वरिष्ठ कवि, पूर्व इन्जीनियर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(21) सार्थक साहित्य लेखन सेवा मंडल- अध्यक्ष श्री प्रशान्त उपाध्याय जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(22) साहित्यकार सेवा संयोजक मंडल ----अध्यक्ष श्री राम लखन शर्मा जी वरिष्ठ कवि शासकीय पुलिस सेवा रत ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(23) कला चित्रण सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री मती प्रज्ञा शर्मा जी शिक्षा शिक्षण प्रशिक्षण ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(24) तकनीकी भू अभिलेख सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री पंकज शर्मा गुरु जी इन्जीनियर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(25) कथा श्रोता सेवा मंडल -----अध्यक्ष श्री मायाराम तिवारी जी पूर्व इन्जीनियर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(26) यज्ञादि अनुष्ठान सेवा मंडल---- अध्यक्ष आचार्य श्री योगेन्द्र पाठक जी वेदपाठी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(27) पूजक सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्रीराम नरेश अवस्थी जी आचार्य ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(28) अभिषेक श्रृंगार सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री गणेश मिश्रा जी पूर्व शासकीय सेवा निवृत्त ग्वालियर मध्यप्रदेश।

(29) जाप सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री मनोज कुमार दुबे जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(30) पाठ सेवा मंडल----अध्यक्ष श्री हरि मोहन शर्मा गुरु जी पूर्व शासकीय सेवा निवृत्त ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(31) निराश्रित सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री सुरेश चन्द्र गुप्ता जी पूर्व प्राचार्य ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(32) विकलांग सेवा मंडल----अध्यक्ष श्री राम स्वरूप पंसारी जी पूर्व शासकीय सेवा निवृत्त ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(33) दीन हीन सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री राकेश कुमार गुप्ता जी दाल बाजार लस्कर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(34) साधु संत सेवा वरिष्ठ नागरिक सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री राहुल गुप्ता जी "सी ए " ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(35) मीडिया सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री जितेन्द्र शर्मा जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(36) लंगर भंडारा सेवा मंडल--- समस्त शिष्य भक्त, धर्म प्रेमी जन श्री हनुमान सत्संग धाम ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(37) ग्रन्थागार साहित्य सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री बसंत कुमार उपाध्याय जी (साधक)ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(38) सुंदरकांड पाठ साप्ताहिक कार्यक्रम सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री किशोर सिंह यादव जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(39) वानप्रस्थ सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री दिनकर कांत गुप्ता जी पूर्व शासकीय सेवा निवृत्त ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(40) अन्नदाता सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री संदीप गोपाल शर्मा जी (राज नेता) ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(41) नारी-सशक्तीकरण सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्रीमती मीना शर्मा जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(42) सर्व धर्म समन्वय सेवा मंडल- अध्यक्ष श्री राहुल सिंह भदौरिया जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(43) सर्व जातीय विवाह सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री ओम प्रकाश शर्मा जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(44) नित्य सत्संग - श्री मायाराम तिवारी जी पूर्व इन्जीनियर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(45) चिकित्सा आपरेशन सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री डाक्टर आलोक पुरोहित जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(46) चिकित्सा दवा वितरण व्यवस्था सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री शैलेन्द्र सिंह कौरव जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(47) हरीतिमा सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री राहुल बाथम जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(48) विद्युत आपूर्ति सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री गणेश अवस्थी जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(49) तकनीकी सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री नरेश झा जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(50) साज सज्जा सेवा मंडल---अध्यक्ष श्री अनिल चंदेल जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(51) आन-लाइन सेवा मंडल ----अध्यक्ष श्री दीपक गोयल जी इन्जीनियर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

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श्री हनुमान सत्संग धाम श्री हरि अवतार दर्शन पीठ ग्वालियर मध्यप्रदेश संचालित सेवा प्रकल्पों का लाभ ।

संस्थापक अधिष्ठाता पीठाधीष्वर महामंडलेश्वर राजगुरु स्वामी संतोषानंन्द सरस्वती (संतोष गुरु जी) महाराज।

संस्थान के सभी 101 सेवा प्रकल्प निःशुल्क संचालित हैं । सहभागिता के लिए सभी भक्तों की भूमिका वंदनीय है। सहभागिता हेतु मोबाइल नंबर 9827071716 पर संपर्क कर सकते हैं । पूर्व में जारी 51 प्रकल्प आगे----

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(52) मंगल मूरति मारुति नंदन मंगल सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री रितेश लाहोटी जी एवं श्री राकेश लाहोटी जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(53) देव आराधना सेवा मंडल--- अध्यक्ष सु श्री उर्मिला वाडेकर जी पूर्व शासकीय सेवा निवृत्त ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(54) महोत्सव संयोजक सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री टी एन शर्मा जी आकाशवाणी मध्यप्रदेश ।

(55) जन सेवा मंडल अध्यक्ष श्री सास्वत पांडेय जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(56) आपातकालीन सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री विजय आर एस गर्ग जी एवं श्री अजय आर एस गर्ग जी सराफा बाजार लस्कर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(57) दरवार मेला संयोजक सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री सी बी शर्मा जी पूर्व बैंक आफीसर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(58) श्री शिवाभिषेक पूजा सेवा मंडल----- अध्यक्ष श्री राघवेन्द्र श्रीवास्तव जी पूर्व बैंक आफीसर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(59) भगवान दत्तात्रेय जयंती समारोह सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री सुनील करकरे जी पूर्व बैंक आफीसर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(60) सत्पथ सत्संग चेतना सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री दिलीप भदौरिया जी एडवोकेट ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(61) लौकिक चेतना सेवा मंडल-----अध्यक्ष बन्टी द्विवेदी जी ग्वालियर ।

(62) पारिवारिक जीवन समन्वय चेतना सेवा मंडल ---- अध्यक्ष श्री नरेन्द्र शर्मा जी (भार्गव) नेता कांग्रेस पार्टी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(63) पीडित मानव सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री अजय शर्मा जी ( पुलिस विभाग) ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(64) शारीरिक और आध्यात्मिक चेतना मार्ग दर्शन सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री डाक्टर अखिलेश मिश्रा जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(65) दीन दुखी जन सेवा मंडल----अध्यक्ष श्री डाक्टर सुनील शर्मा जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ( शिवपुरी) 

(67) धर्म ,योग और अध्यात्म शिविर सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री अमित सिंह (सोनू) तोमर जी ( भा ज पा ) ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(68) सेवा साधना समारोह दिशा दर्शन सेवा मंडल----- अध्यक्ष श्री आनंद सिंह जी तोमर सचिव सेवा साधना संस्थान समिति ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(69)श्री राम नवमी समारोह सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री अशोक सक्सेना जी पूर्व आर टी ओ विभाग ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(70) महाशिवरात्रि पर्व सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री आर के सोनी जी आर टी ओ विभाग ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(72) दायित्व - शिविर सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री बबलेश शर्मा जी (गुरु जी) ग्वालियर मध्यप्रदेश । 

(73) सत्संग मासिक पत्रिका सेवा मंडल----- अध्यक्ष श्री वरुण गुप्ता जी ( पत्रकार) ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(74) साधना सिद्धि सेवा मंडल----- अध्यक्ष श्री हेमंत भारद्वाज जी पूर्व शासकीय सेवा निवृत्त ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(75) नर सेवा नारायण सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री डाक्टर सी वी शर्मा जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(76) कानूनी मार्ग दर्शन सेवा मंडल----अध्यक्ष श्री चन्द्रकांत शर्मा जी एडवोकेट ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(77) राज धर्म चिंतन शिविर सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री डाक्टर अखिलेश शर्मा जी "समाज सेवी " ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(78) दुर्गा पूजा मेला संयोजक सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री दीपक बंसल जी (मालनपुर) ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(79) श्री राम चरित मानस सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री हरि बाबू यादव जी पूर्व शासकीय सेवा निवृत्त ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(80) श्री मंगल मूरति मारुति नंदन अभिषेक सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री जितेन्द्र सिंह सेंगर जी ( जीतू तोमर जी) ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(81) ब्रह्म विद्या योग पीठम् गुरु गद्दी सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री आर एस सेंगर जी रेलवे अधिकारी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(82) पूर्णिमा दरवार मेला सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री राघवेन्द्र दुबे जी (झांसी) ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(83) चिकित्सा मार्ग दर्शन सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री डाक्टर एम एल कदम जी पूर्व शासकीय अधिकारी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(84) भगवान व्यास जयंती समारोह सेवा मंडल-- अध्यक्ष श्री कपिल तिवारी जी प्रोफेसर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(85) होम्योपैथी चिकित्सा सेवा मंडल --- अध्यक्ष श्री डाक्टर कपिल कदम जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(86) भगवान सनत्कुमारादि जयंती समारोह सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री मुकेश कटारे जी प्रोफेसर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(87) चैत्र नवरात्रि पूजा समारोह सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री एस के चतुर्वेदी पूर्व शासकीय इन्जीनियर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।श्री हनुमान सत्संग धाम ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(88) कन्या पूजा - दुर्गा महोत्सव सेवा मंडल- अध्यक्ष श्री नरेन्द्र माडिल जी व्यवसायी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(89) भजन संकीर्तन सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री नीरेश भदौरिया जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(90) आश्विन दुर्गा पूजा सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री आर एस भदौरिया जी पूर्व शासकीय अधिकारी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(91) मकर संक्रांति पर्व महोत्सव सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री आदित्य पान्डे जी ग्वालियर मध्यप्रदेश 

(92) श्री कृष्ण जन्माष्टमी सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री आर डी मणि तिवारी जी पूर्व जी एम स्टेट बैंक ऑफ़ इंडिया ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(93) भगवान गुरु पूर्णिमा गद्दी पूजा सेवा मंडल-- अध्यक्ष श्री संजय मिश्रा जी व्यवसायी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(94) श्री हनुमान जयंती समारोह सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री राजीव मिश्रा जी व्यवसायी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(95) सप्तश्रषि पूजा पर्व समारोह----अध्यक्ष श्री राजकुमार गुप्ता जी इंजीनियर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(96) राष्ट्रीय त्योहार समारोह संयोजन ----- अध्यक्ष श्री शैलेन्द्र भार्गव जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(97) विश्वकर्मा जयंती समारोह सेवा मंडल- अध्यक्ष श्री सतेन्द्र शर्मा इन्जीनियर ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(98) निःशुल्क चिकित्सा मार्ग दर्शन सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री डाक्टर अनुग्रह दुबे जी ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(99) भगवान परशुराम जयंती पूजा संचालन सेवा मंडल----- अध्यक्ष श्री श्याम पाठक जी पत्रकार ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(100) भंण्डारा प्रसाद निर्माता सेवा मंडल--- अध्यक्ष श्री विजय जैन मुरार ग्वालियर मध्यप्रदेश 

(101) आचार्य सेवा मंडल---- अध्यक्ष श्री आचार्य चंद्र शेखर शर्मा जी ग्वालियर मध्यप्रदेश । 

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 श्री हनुमान सत्संग धाम ग्वालियर मध्यप्रदेश के सेवा प्रकल्पों को संचालित करने के लिए आप सभी में दायित्व निर्वहन की निष्ठा विश्वास की श्रेष्ठ क्षमता जानकर  अनुभूति के आधार पर कर्तव्य आपके निर्मल हाँथों में सोंपा है ।आशा करता हूँ कि पावन जीवन की घडियां सेवा प्रकल्प में सहभागी हों।शुभकामनाएं ।आपकी व्यस्तता अथवा अनुरूपता का कारण यदि आड़े आता है, तो भी हम आपके आभारी रहेंगे ।शुभकामनाएं । 

शुभेच्छु महामंडलेश्वर संतोष गुरुजी श्री हनुमान सत्संग धाम ग्वालियर मध्य प्रदेश


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गौरव गाथा

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 संस्थान के सभी सेवा प्रकल्प लगभग 50 वर्षों से क्रमशः संचालित होते आये हैं ।यह अतिशयोक्ति नहीं होगी कि मैं  आपकी जानकारी के लिए बता दूं  कि भगवत क्रपा के साथ कंधे से कंधा मिलाकर काम करने का संकल्पित भक्तों का योगदान कम नहीं है ।श्रद्धा भक्ति निष्ठा विश्वास के ऊपर श्री श्री 1008 परमहंस श्री पागलदास जी महाराज समाधि स्थल बरहा की कृपा , इष्ट देव श्री हनुमान जी की अहेतु की कृपा के साथ श्री हिंगोटा वाले सिद्ध बाबा की दया से  सभी आयोजन चंदा रहित निःशुल्क सेवा की पद्धति से आयोजित होते रहे हैं । मानव की मानवता की श्रद्धा का अद्भुत प्रभाव हमने देखा है, कि ग्राम बरहा की तपोभूमि से  लेकर आज यदि संस्थान के अन्य स्थानों पर नजर डालें तो भक्तों की आप सबकी सेवा का दर्शन इन सब में होता है ।मूल विकास का  आश्रय संस्थान की गद्दी ही रही है ।दैहिक दैविक भौतिक ताप निदान व जिज्ञासा समाधान का लाभ भक्तों को मिलता रहा है। पर भक्तों की भूमिका में भगवान का दर्शन अवश्य होता है । इसीलिए संस्थान द्वारा संचालित संगठनों के दायित्व निर्वहन किये गये हैं, उनके प्रेय में श्रेय भी हमेशा रहना आवश्यक है ।चाहे श्री हनुमान सत्संग धाम सेवा समिति ग्वालियर , सेवा साधना संस्थान समिति बरहा ग्वालियर, आनंद शर्मा एवं संस्कृति समन्वय शोध संस्थान समिति ग्वालियर मध्यप्रदेश, आदि हमारे संस्थापित संगठनों की हम बात करें । इनमें रहे सभी शिष्य -भक्तों की भूमिका स्तुत्व है । निर्णायक मंडल में वह सभी की अहम भूमिका है । आज संस्थान के भक्त देश और विदेश में हैं । हम सभी से आग्रह करते हैं कि सभी प्रकल्पों के मंडल अध्यक्ष अपनी अपनी योजना के तहत सेवा प्रकल्प संचालित करने के क्रतसंकल्पित होंगे, येसा हमें विश्वास है ।शुभकामनाएं । 

"कथा स्थान हरिद्वार "

 

  

"कथा स्थान हरिद्वार " 

एकादश रुद्र पीठ भारत माता पुरम हरिद्वार उत्तराखंड ।

"श्री मद् भागवत कथा - श्री राम कथा - श्री शिव महापुराण कथा - श्री मद् देवी भागवत कथा आदि "।

मानव जीवन की सार्थकता में करणीय कर्म और अकरणीय कर्म बोध से परिपूर्ण जीवनशैली सुखी शान्ति मय जीवन का पथ अपनाकर न केवल अपनें को सम्रद्ध शाली बनाता है, बल्कि परिवार समाज राष्ट्र के साथ साथ विश्व के लिए गौरवशाली पथ निर्माता बन जाता है ।

यही सब ज्ञान विज्ञान का दर्शन मिलता है उन भारतीय पूज्य सभी ग्रन्थों में जिसे कथा वाचक तथा कथा श्रोता पढकर और सुनकर चिंतन मनन कर आत्मसात् करते हैं।

भारतीय तीर्थ स्थल जहाँ पर मन बुद्धि स्वयं शांति पाती है ।मन वैरागी होता है तब इस अवस्था में जब होगा तो कथा अति प्रभावी प्रभाव डालती है ।मनोरथ पूर्ण करने की शक्ति प्रदान करती है । गंगा जैसा तट व गंगा मैया के स्नान हो संतो के निरमल मन से दर्शन सत्संग तीर्थ स्थल दर्शन आदि का एक अद्भुत अनुभव जब होगा तो कथा सार्थकता का लाभ ससंकल्प अवश्य देती है । 

आइये वह पावन स्थल एकादश रुद्र पीठ भारत माता पुरम हरिद्वार उत्तराखंड में, यहाँ कथा के लिए दो बड़े 

बड़े हाल जिसमें एक हाल में दो सौ , दूसरे हाल में तीन सौ लोगों के बैठने की व्यवस्था है । बड़ी रसोईघर है । पन्द्रह ए सी डबल बैड अटैच लैटवाथ बालकनी सहित कमरे तथा दस बिना ए सी कमरे उपलब्ध हैं । भारत माता मन्दिर के पीछे तथा निकट में हैं गंगा मैया का सप्तश्रषि आदि स्थल चार पांच फर्लांग दूर है। 

स्टेशन से ऋषिकेश रोड पर भोपतवाला में हरिद्वार का ह्रदय स्थल यह एकादश रुद्र पीठ है ।

संस्थापक अधिष्ठाता महामंडलेश्वर राजगुरु स्वामी संतोषानंन्द सरस्वती (संतोष गुरु जी )महाराज हैं ।

अधिक जानकारी के लिए सम्पर्क सूत्र 9827071716 .

"ब्रह्म विद्या योग पीठम् "

  

"ब्रह्म विद्या योग पीठम् "

एकादश रुद्र पीठ भारत माता पुरम हरिद्वार उत्तराखंड ।

संस्थापक अधिष्ठाता महामंडलेश्वर राजगुरु स्वामी संतोषानंन्द सरस्वती (संतोष गुरु जी) महाराज । 

"योग साधना शिविर एवं ब्रह्म विद्या योग साधना "

मानव जीवन में कौतूहल आश्चर्य के लिए अनेक जिज्ञासायें हैं । जैसे संसार का अद्भुत अकल्पनीय निर्माण पालन और रूपांतरण संघार निरंतरता में रहता है ।इसका कर्ता कौन है । पंच तत्वों का निर्माण व उनसे उत्पन्न जगत नाना रूप गुण कर्म स्वभाव में है । चेतन जीवधारियों का अचेतन होना अर्थात जन्म और मृत्यु व अचेतन सूखे बीज से हरे चेतन ब्रक्षों का होना आदि और अनादि काल से यह सभी प्रकार के स्रष्टि में लक्षण द्रष्टिगत होते हैं । इनका नियंत्रण कर्ता कौन है? 

तीन काल की बातों को जान लेना हमारे ऋषि-मुनियों साधकों की ऐतिहासिक परम्परा देखने-सुनने को मिलती है । भले ही सभी सब कुछ नहीं जानते। पर ज्ञान और विज्ञान के साथ सद्ज्ञान की विद्या से मानव ने सब कुछ नहीं पर बहुत कुछ जानने के लिए प्रयास किया और सफलता मिली । ब्रह्म विद्या योग भी उन्हीं तमाम विद्याओं में से एक वह विद्या है ,जो अदृश्य अद्भुत 

अकल्पनीय ज्ञान विज्ञान का द्रश्य दर्शन करने कराने का अनुभूति जन्य आश्रय अवलम्बन पद्धति की विद्या है ।

यह साधना उपासना त्याग तपस्या के योग मय साधन में से एक है । जिससे त्रिकालदर्शी द्रष्टि प्राप्त होती है । साधकों की अपनी अलग-अलग अवस्थाओं से परिणाम भी सिद्धि और सफलता के एक जैसे प्राप्त नहीं हो सकते हैं। किन्तु शरीर की नीरोगता में मन की निर्मलता के साथ पद्धति सहित प्रयोग अवश्य भारतीय आध्यात्मिक जीवन का पथ प्रशस्त करेगा और सकारात्मक अनुकूलन होगा ।मन की शांति के लिए स्वस्थ शरीर के हेतु ब्रह्म विद्या योग अनुपम है ।दैहिक दैविक भौतिक ताप निदान व जिज्ञासा समाधान का श्रेष्ठ साधन भी है। 

ब्रह्म विद्या योग पीठम् से साधना उपासना आदि शिविर लगते हैं ।जो लोग स्वेच्छा से इसकी सहभागिता कर लाभ चाहते हैं वे 982707171 मोबाइल नंबर पर अधिक जानकारी के लिए सम्पर्क कर सकते हैं ।

योग शिविर हेतु स्वतंत्र रूप से भी साधक लोग सहभागी बनें । संस्थान पर हाल ठहरने के लिए कमरे पाकशाला खुली छत आदि व्यवस्था उपलब्ध है ।सम्पर्क करें ।

मोबाइल नंबर 9827071716 पर ।।

"पावन धाम - शक्ति पीठ -मंदिर -आश्रम - संगठन"

  

"पावन धाम - शक्ति पीठ -मंदिर -आश्रम - संगठन"

श्री श्री 1008 परमहंस श्री पागलदास जी महाराज समाधि स्थल बरहा की कृपा व पूर्वजों के आशीर्वाद। 

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"मठ मंदिर आश्रम "

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संस्थापक अधिष्ठाता महामंडलेश्वर राजगुरु स्वामी संतोषानंन्द सरस्वती (संतोष गुरु जी )महाराज जी ।

1-श्रीहनुमंत निवास बरहा सरकार धाम -श्री हिंगोटा वाले सिद्ध बाबा महाराज मन्दिर ग्राम बरहा परगना लहार जिला भिण्ड मध्यप्रदेश।

2-दिव्य सत्संग सदन श्री हनुमान गढ़ी बरहा भिण्ड लहार

3-गंगा गौ सेवा धाम - धर्मशाला बरहा भिण्ड मध्यप्रदेश।

4- श्री हनुमान सत्संग धाम ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

5- श्री हरि अवतार दर्शन पीठ ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

6-ग्रन्थागार श्री हनुमान सत्संग धाम ग्वालियर मध्यप्रदेश।

7- वानप्रस्थ आश्रम सेवा मंडल श्री हनुमान सत्संग धाम ।

8- श्री चण्डी धाम भैंसाखेड़ी भोपाल मध्यप्रदेश ।

9- एकादश रुद्रपीठ भारत माता पुरम हरिद्वार उत्तराखंड।

10- श्री महाबली हनुमान मठ बैतूल मध्यप्रदेश ।

11- तीर्थ सदन भारत माता पुरम हरिद्वार उत्तराखंड ।

(वृन्दावन -चित्रकूट-अयोध्या-काशी-उज्जैन में प्रस्तावित)

( निर्माणाधीन स्थानों में सहभागी बन सकते हैं भक्त )

" संगठन व समितियां "

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(1) -श्री हनुमान सत्संग धाम सेवा समिति ग्वालियर म,प्र,। (रजिस्टर्ड)।

(2)सेवा साधना संस्थान समिति बरहा ग्वालियर म, प्र ,।( रजिस्टर्ड)।

(3)आनंद शर्मा एवं संस्कृति समन्वय शोध संस्थान समिति ग्वालियर मध्यप्रदेश । ( रजिस्टर्ड)।

(4) सार्थक साहित्य संघ ग्वालियर मध्यप्रदेश ।

(5) ब्राह्मण सर्व सेवा संघ ग्वालियर मध्यप्रदेश । (रजिस्टर्ड)।

(6) सनातन राष्ट्रीय संघ (एस आर एस) ग्वालियर मध्यप्रदेश। 

(7) श्री मद्भागवत कथामॄत दर्शन संघ ग्वालियर ।

(8) ब्रह्म विद्या योग पीठम् गुरु गद्दी सेवा समिति ।

(9) वार्षिक महोत्सव समारोह सेवा मंडल ।

(10) साधु संत - अतिथि सेवा मंडल ।

(11) वरिष्ठ संयोजक संचालक सेवा समिति ।

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"पूर्णिमा दिव्य दरवार मेला "

  

"पूर्णिमा दिव्य दरवार मेला "

"एवं "

"प्रति मंगलवार एवं शनिवार "

दैहिक दैविक भौतिक ताप निदान व जिज्ञासा समाधान 

"समय दोपहर 9बजे से 12बजे तक ।

दरवार का लाभ प्रातःकाल से साम तक मिलता है ।

मंगल मूरति मारुति नंदन-ब्रह्म विद्या योग पीठम् गुरु गद्दी स्थान - श्री हनुमान सत्संग धाम श्री हरि अवतार दर्शन पीठ क्रष्णा विहार ग्वालियर मध्यप्रदेश पिन 474011 ।

मानव जीवन अनेक जिज्ञासायें लिये हुए अग्रसर होता है।

संसार की विषमताओं से दैहिक और दैविक तथा भौतिक संकटों से भी जूझता है ।यंत्र मंत्र तंत्र के चक्कर में भी पीडित एवं भौतिक आपदाओं से भी संकटों में कभी-कभी घिर जाता है । आध्यात्मिक दिशा का आश्रय तब बहुत बड़े अवलम्बन के रूप में आशानवित रखता है।

हालांकि वर्तमान समय में धर्म का व्यापारीकरण अधिक होता जा रहा है । जिस त्याग तपस्या परस्वारथ परमारथ रत जीवन का उद्देश्य साधना शक्तियों का सदुपयोग रहता वहीँ अब उद्देश्य व परिभाषाएं बदलती जा रही हैं।

श्री हनुमान सत्संग धाम श्री हरि अवतार दर्शन पीठ ग्वालियर मध्यप्रदेश में संचालित 101सेवा प्रकल्प 

निःशुल्क रूप से संचालित किये जा रहा हैं । स्वैच्छिक दान दक्षिणा सामग्री को मान्यता संस्थान में है ।

भारतवासियों के अलावा अन्य देशों के भक्त लाभान्वित होते रहे हैं ।इसीलिए श्रद्धा निष्ठा विश्वास का यह सिद्ध शक्ति पीठ है। यहां नित्य भक्तों का आगमन होता है ।समय समय पर संचालित सेवाओं का लाभ व स्वैच्छिक सेवाओं की सहभागिता भी जीवन का अंग बना लेते हैं ।

तन - मन - धन से सेवार्थ सार्वजनिक धार्मिक सामाजिक साहित्यिक सांस्कृतिक राजनीतिक आध्यात्मिक प्राकृतिक राष्ट्रीय शैक्षिक साधना त्मक गतिविधियों के सेवा प्रकल्पों का हिस्सा बनने बाले भक्तों का आदर्श आचरण मानव जीवन की सार्थकता की प्रेरक बनता है।

इस पावन पीठ पर श्री हरि के चौबीसों अवतारों की प्रतिमाओं की प्राण प्रतिष्ठा की गई है । श्री शिव पंचायत के साथ द्वादश ज्योतिर्लिंगों की प्रतिष्ठा की गई है ।

आल्हादिनी शक्ति भवानी तथा तीनों महाशक्तियों के साथ नवदुर्गा माताओं की इस पावन पीठ पर प्रतिष्ठा की गई है । श्री श्री 1008परमहंस श्री पागलदास जी महाराज समाधि स्थल बरहा की प्रतिमा प्रतिष्ठा के साथ साथ सप्तश्रषि मंडल की यहाँ प्राण प्रतिष्ठा है। 

साधना त्मक व शक्तियों के इस दिव्य पावन पीठ पर 

दर्शनार्थियों का सदैव आगमन होता रहता है ।

"दरवार अमावस्या को प्रति माह "

  

"दरवार अमावस्या को प्रति माह "

दैहिक दैविक भौतिक ताप निदान व जिज्ञासा समाधान 

"समय प्रात:9बजे से 5बजे तक"

ब्रह्म विद्या योग पीठम् गुरु गद्दी प्रातः9बजे से 5बजेतक। 

एकादश रुद्र पीठ भारत माता पुरम हरिद्वार उत्तराखंड ।

पीठाधीष्वर संस्थापक अधिष्ठाता महामंडलेश्वर राजगुरु स्वामी संतोषानंन्द सरस्वती (संतोष गुरु जी ) महाराज।

बिन बोले ही जानते सबके मन की बात ।

सेवा में तत्पर रहें क्या दिन और क्या रात।।

पंजीयन 9827071716 पर करायें जानकारी के लिए।

(आवास भोजन शुद्ध शाकाहारी बुक करा सकते हैं )

पूजा पाठ जाप हवनादि अनुष्ठान के लिए पंजीकरण।

चार धाम यात्रा व्यवस्था भी उपलब्ध है पंजीयन करायें।

स्वैच्छिक सहभागिता हेतु जानकारी सुविधा के लिए है।

श्री हनुमान सत्संग धाम सेवा समिति ग्वालियर मध्यप्रदेश के तत्वावधान में निशुल्क गद्दी से भक्तों को लाभ प्राप्त हो, इस हेतु यह सेवा प्रकल्प संचालित है।

संसार में धर्म का व्यापारीकरण अधिक होता जा रहा है ।

लोग कलियुग के बीच शारीरिक-मानसिक बौद्धिक आत्मिक पारिवारिक समस्याओं से ही परेशान नहीं बल्कि देवी देवताओं यंत्र मंत्र तंत्र के चक्कर में भी 

पीडित एवं भौतिक आपदाओं से भी संकटों में फंसे हैं ।

पचास वर्षों से अधिक समय से लाभान्वित हुए भक्तों द्वारा गुरु गद्दी का गुणगान किये जाना आस्था विश्वास के उदाहरण हैं । 

आध्यात्मिक श्री हनुमान जी की क्रपा शक्ति से श्री श्री 1008परमहंस श्री पागलदास जी महाराज समाधि स्थल बरहा की महिमा से साधना साध्य- क्रपा साध्य महामंडलेश्वर राजगुरु स्वामी संतोषानंन्द सरस्वती (संतोष गुरु जी )महाराज द्वारा यह पुनीत सेवा कार्य संपादित होता है ।

आइये अपनी स्वेच्छा से निष्ठा विश्वास के साथ सहभागिता कर स्वानुभूति से भारत की धरोहर को प्रणाम करें ।।शुभकामनाएं 9827071716 ।

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टिप्पणी-- इसी दिव्य दरवार ब्रह्म विद्या योग पीठम् गुरु गद्दी से ग्वालियर मध्यप्रदेश में लाभान्वित होते हैं भक्त।

स्थान - श्री हनुमान सत्संग धाम श्री हरि अवतार दर्शन पीठ क्रष्णा विहार ग्वालियर मध्यप्रदेश।पिन 474011

मंगल मूरति मारुति नंदन मंदिर के सभागार में ब्रह्म विद्या योग पीठम् गुरु गद्दी पर आइये संकट से छुटकारा पाईये । स्वेच्छा से दिया दान-पुण्य सामग्री मान्य है । 

दैहिक दैविक भौतिक ताप निदान व जिज्ञासा समाधान का लाभ निःशुल्क मिलता है । 

प्रति मंगलवार एवं शनिवार तथा प्रति पूर्णिमा को दिव्य दरवार का समय दोपहर 11बजे से 02 बजे तक रहता है । पंजीकरण की व्यवस्था मोबाइल नंबर 9827071716 पर उपलब्ध है । स्थान पर जाकर भी पंजीकरण कराने की सुविधा उपलब्ध है ।

आवास भोजन आदि शुद्ध शाकाहारी बुक करा सकते हैं।

पूजा पाठ जाप हवनादि अनुष्ठान के लिए पंजीकरण कराने की सुविधा उपलब्ध है पंजीयन करायें ।

संचालित 101 सेवा प्रकल्पों का समय समय पर लाभ उठायें ।सहभागिता हेतु स्वतंत्र रूप से स्वैच्छिक संगठनों के दायित्व निर्वहन की निष्ठा विश्वास के साथ सेवा में सहभागी बनें ।शुभकामनाएं ।

वेवसाइट- महामंडलेश्वर संतोष गुरु जी महाराज 

Mahamandleshwar Santosh Guruji Maharaj

यूट्यूब चैनल सब्सक्राईब करें जिससे सभी वीडियो आप तक पंहुचा सकते हैं ।आपकी सहभागिता हेतु ।

यूट्यूब-Shri Hanuman Satsangdham Gwalior .Mahamandleshwar Santosh Guruji HSD Gwalior . Mobile Number 9827071716

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यज्ञ शक्ति साधना सनातन अध्यात्मिक विज्ञान है।

"महायज्ञ वैदिक विज्ञान व अध्यात्म"

 

यज्ञ शक्ति साधना सनातन अध्यात्मिक विज्ञान है। जिससे प्रकृति संरक्षण एवं मनोनुकूल प्रब्रति का संतुलन बनाए रखने में सफलता मिलती है। 

संस्थान सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित कर सामाजिक समन्वय स्थापित कर सामूहिक रूप से वैदिक पाठ करके वेद ध्वनि से मन की शान्तिपूर्ण अवस्था उत्पन्न कर यज्ञाचार्य से यज्ञादि कार्य करवाने पर पर्यावर

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Hanuman Satsang Dham

Ekadas Rudrapeeth Haridwar


11/28/2020

Evenings in the Ashram

7pm

-

10pm

Gwalior Ashram

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11/28/2020

Evenings in the Ashram

We invite you to listen to devotee pravachan at every evening 7 pm.

7pm

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